Khaskhabar/लगातार दूसरे साल कोरोना प्रतिबंध के बीच महाप्रभु जगन्नाथ जी की विश्व प्रसिद्ध रथयात्रा आयोजित की जा रही है। कोविड प्रतिबंध के कारण इस साल भी लाखों की सख्या में भक्त बड़दाण्ड में रथारूढ चतुर्धा विग्रहों के साक्षात दर्शन से वंचित हुए हैं। ऐसे में जगन्नाथ मंदिर के सेवक तीनों रथों को खींच रहे हैं।

तीन घंटे पहले ही रथ खींचने की प्रक्रिया शुरू हुई
हालांकि निर्धारित समयावधि से तीन घंटे पहले ही रथ खींचने की प्रक्रिया शुरू हुई है। सबसे पहले प्रभु बलभद्र जी के तालध्वज रथ को सेवकों ने खींचना शुरू किया। इससे पहले तीनों ठाकुरों की पहंडी बिजे कर तीनों रथों पर विराजमान किया गया है।
रथयात्रा कड़ी सुरक्षा के बीच निकाली जा रही
जगन्नाथ धाम पुरी में आज बिन भक्तों के ही महाप्रभु की विश्व प्रसिद्ध रथयात्रा कड़ी सुरक्षा के बीच निकाली जा रही है। आषाढ़ शुक्ल द्वतीया तिथि में आज महाप्रभु रत्न सिंहासन से बाहर निकल कर नौ दिन की यात्रा में भाई बहन के साथ गुंडिचा यात्रा पर जाएंगे।
देव दलन रथ में देवी सुभद्रा, तालध्वज रथ में बलभद्र जी एवं नंदीघोष रथ में प्रभु जगन्नाथ जी को पहंडी में लाकर विराजमान किया गया। सबसे पहले सुदर्शन महाप्रभु की पहंडी बिजे की गई। इसके बाद बलभद्र जी एवं देवी सुभद्रा जी पहंडी बिजी की गई। सबसे अंत में जगत के नाथ प्रभु जगन्नाथ जी को पहंडी बिजे में लाकर रथ पर विराजमान किया गया।
खिचड़ी भोग नीति सम्पन्न होने के बाद रथ प्रतिष्ठा किया गया
जानकारी के मुताबिक निर्धारित समय से पहले ही सकाल धूप, खिचड़ी भोग नीति सम्पन्न होने के बाद रथ प्रतिष्ठा किया गया गया। इसके बाद श्रीविग्रहों की धाड़ी पहंडी बिजे शुरू हुई है। सबसे पहले चक्रराज सुदर्शन की धाड़ी पहंडी बिजे की गई। इसके बाद भाई बलभद्र एवं बहन सुभद्रा को पहंडी बिजे में लाकर रथ पर विराजमान किया गया। सबसे अंत में महाप्रभु जगन्नाथ जी की पहंडी बिजे शुरू हुई।
महाप्रभु के दर्शन करने पर रोक लगायी गई
रविवार रात 8 बजे से ही शहर में कर्फ्यू लगा दिया गया है, जो कि मंगलवार रात 8 बजे तक जारी रहेगा। बड़दांड के किनारे रहने वाले घरों के लोगों को भी रथयात्रा में आ रहे महाप्रभु के दर्शन करने पर रोक लगायी गई है। ऐसे में लोग अपने अपने घरों में रहकर महाप्रभु के इस अनुपम पेश का दर्शन कर रहे हैं।
भक्त विहीन रथयात्रा निकाले जाने से पुलिस प्रशासन की तरफ से सुरक्षा के कड़े इंतजाम
कोरोना महामारी के कारण भक्त विहीन रथयात्रा निकाले जाने से पुलिस प्रशासन की तरफ से सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। अनुशासित ढंग से यात्रा सम्पन्न हो इसके लिए शहर को 12 जोन में विभक्त किया गया है। 65 प्लाटुन पुलिस बल तैनात किया गया है। शहर के मुख्य प्रवेश मार्ग, बड़दांड के दोनों तरफ मौजूद घरों के ऊपर विशेष सुरक्षा बल के जवान तैनात किए गए हैं।
लोग घरों में बैठकर टेलीविजन के माध्यम से जगत के नाथ का दर्शन किया
महाप्रभु के इस अनुपम रूप को देखने के लिए जहां हर साल जगन्नाथ धाम लाखों की संख्या में भक्तो की भीड़ होती थी, वहीं पिछले साल की तरह इस साल भी बिना भक्तों के महाप्रभु की रथयात्रा निकाली जा रही है। लोग घरों में बैठकर टेलीविजन के माध्यम से जगत के नाथ का दर्शन किया है।
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पुरी में महाप्रभु जगन्नाथ जी की रथयात्रा अपराह्न 3 बजे से निकाली जाएगी
ओडिशा के पुरी में महाप्रभु जगन्नाथ जी की रथयात्रा अपराह्न 3 बजे से निकाली जाएगी लेकिन रथयात्रा के लिए नीतियां भोर से ही शुरू हो चुकी हैं। भोर 4:30 मंदिर का दरवाजा खोला गया और फिर मंगल आरती की गई। मंगल आरती सम्पन्न होने के पश्चात अवकाश नीति, इसके बाद द्वारपाल पूजा, सूर्य पूजा तत्पश्चात सकाल धुप में प्रभु को खिचड़ी भोग लगाया गया। मंत्रोच्चारण कर रथ प्रतिष्ठा नीति सम्पन्न होने के बाद 24 पुरोहित वहीं जगन्नाथ मंदिर में स्थित चाहाणी मंडप पर तीनों रथों के 24 पुरोहित रथ प्रतिष्ठा के लिए हवन करेंगे।